राजस्थान में इस नई योजना के तहत सरकार हर महीने देगी 3000 रुपए पेंशन, बस करना होगा ये काम
जयपुर। राजस्थान में 41 से 45 वर्ष के असंगठित श्रमिकों, स्ट्रीट वेंडरों और लोक कलाकारों को अब 60 वर्ष की आयु पर 3 हजार रुपए प्रतिमाह पेंशन मिल सकेगी। पहली वर्षगांठ के मौके पर भजनलाल सरकार मुख्यमंत्री विश्वकर्मा पेंशन योजना लागू करने जा रही है। इसका लाभ लेने के लिए 41 से 45 वर्ष तक के इन वर्गों के व्यक्तियों को 60 वर्ष की आयु तक 100 रुपए प्रतिमाह जमा कराने होंगे। केन्द्र सरकार की पीएम श्रमयोगी मानधन योजना में भी इसी तरह की पेंशन दी जा रही है, लेकिन उसके दायरे में 18 से 40 वर्ष आयु तक के लोग ही हैं। मुख्यमंत्री विश्वकर्मा पेंशन योजना के दायरे में वे 41 से 45 वर्ष के असंगठित श्रमिक, स्ट्रीट वेंडर और लोक कलाकार आ सकेंगे, जिनकी मासिक आय 15 हजार रुपए से कम हो और केंद्र सरकार के ई-श्रम पोर्टल पोर्टल पर पंजीकृत हों। एनपीएस, राज्य बीमा एवं प्रावधायी निधि योजना, कर्मचारी भविष्य निधि में शामिल व्यक्ति और आयकरदाता भी योजना का लाभ लेने के लिए पात्र नहीं होंगे। यह पेंशन वृद्धावस्था पेंशन के अतिरिक्त होगी। विश्वकर्मा पेंशन योजना में शामिल व्यक्ति की 60 वर्ष की आयु के बाद मृत्यु होने पर पति/पत्नी को आधी पेंशन दी जाएगी।
योजना छोड़ने का विकल्प
-तीन वर्ष के लॉक इन पीरियड के बाद और 10 वर्ष से पहले कोई योजना से बाहर निकलना चाहेगा तो उसे जमा राशि के साथ बचत खाते पर मिलने वाली ब्याज दर से ब्याज दिया जाएगा।
-60 वर्ष की आयु से पहले और पंजीकरण के 10 वर्ष के भीतर योजना छोड़ने पर पेंशन निधि के वास्तविक ब्याज अथवा बचत खाते की ब्याज दर के आधार पर ब्याज राशि मूलधन में जोड़कर लौटाई जाएगी।
-आवेदक की मृत्यु होने पर पति/पत्नी जमा कराई राशि ब्याज सहित प्राप्त करने के हकदार होंगे।
-आवेदक के 60 साल से पहले नि:शक्त हो जाने पर पेंशन निधि में जमा वास्तविक ब्याज और मूल राशि निकाली जा सकेगी, सरकार द्वारा जमा कराया अंशदान पेंशन निधि में जमा रहेगा।